High court ने कहा डीएम खुद को  गवर्नर ना समझें, देखें राजस्व का काम

इलाहाबाद। हाईकोर्ट ने प्रतापगढ़ डीएम की कार्यशैली पर नाराजगी जाहिर की है। कोर्ट ने कहा कि डीएम जिले में राजस्व के मुखिया हैं राजस्व का काम देखें, खुद को गर्वनर न समझें। कोर्ट ने कहा कि जिले में शिक्षा विभाग का मुखिया जिला विद्यालय निरीक्षक (DIOS) होता है। वह विभाग के उच्चाधिकारियों और शिक्षा मंत्री के प्रति जवाबदेह है, डीएम के प्रति नहीं।

यह सख्त टिप्पणी न्यायमूर्ति जेजे मुनीर ने प्रमोद कुमार मिश्रा की ओर से प्रतापगढ़ के मुनीश्वरदत्त स्नातकोत्तर महाविद्यालय में तृतीय श्रेणी कर्मचारियों की शुरू हुई चयन प्रक्रिया को चुनौती देने वाली याचिका पर सुनवाई के दौरान की। कोर्ट ने डीएम प्रतापगढ़ से 24 घंटे में व्यक्तिगत हलफनामा तलब किया है।

मामला प्रतापगढ़ स्थित मुनीश्वरदत्त स्नातकोत्तर महाविद्यालय में तृतीय श्रेणी कर्मचारियों की चयन प्रक्रिया का है। याची के अधिवक्ता सुरेश कुमार मौर्य ने बताया कि विद्यालय एडेड महाविद्यालय है। प्रबंधन ने तृतीय श्रेणी कर्मचारियों की भर्ती गुमनाम समाचार पत्रों में प्रकाशित कर शुरू कर दी गई। भर्ती की जानकारी ज्यादातर अभ्यर्थियों को नहीं हो सकी। इसकी जानकारी होने पर अभ्यर्थियों ने इस चयन प्रक्रिया में गड़बड़ी की शिकायत जिलाधिकारी प्रतापगढ़ से की, जिस पर डीएम ने डीआईओएस प्रतापगढ़ को मामले में नियमानुसार कार्यवाही करते हुए आख्यां प्रस्तुत करने का आदेश दिया था।

सुनवाई के दौरान डीएम के इस आदेश को देख कोर्ट ने सख्त रुख है अख्तियार कर लिया। खफा कोर्ट ने क जिलाधिकारी प्रतापगढ़ से 24 घंटे में म व्यक्तिगत हलफनामा दाखिल कर यह न बताने को कहा है कि माध्यमिक शिक्षा व विभाग के मामले में उन्होंने किस अधिकार के तहत हस्तक्षेप किया और डीआईओएस से आख्या तलब की है।

कोर्ट ने कहा कि डीआईओएस शिक्षा विभाग के उच्चाधिकारियों और विभागीय मंत्री के प्रति जवाबदेह हैं, तो डीएम ने किस अधिकार से डीआईओएस से आख्या तलब की है। कोर्ट ने सख्त हिदायत देते हुए कहा कि डीएम अपनी सीमा में रह कर काम करें। किसी भी मामले में हस्तक्षेप करते वक्त वह यह न भूलें कि वह राजस्व के मुखिया हैं गवर्नर नहीं। प्रोटोकाल के मुताबिक वरीयता क्रम में उनका कोई स्थान नहीं है।

Sanjay Saxena

BSc. बायोलॉजी और समाजशास्त्र से एमए, 1985 से पत्रकारिता के क्षेत्र में सक्रिय , मध्य प्रदेश की राजधानी भोपाल के दैनिक अखबारों में रिपोर्टर और संपादक के रूप में कार्य कर रहे हैं। आरटीआई, पर्यावरण, आर्थिक सामाजिक, स्वास्थ्य, योग, जैसे विषयों पर लेखन। राजनीतिक समाचार और राजनीतिक विश्लेषण , समीक्षा, चुनाव विश्लेषण, पॉलिटिकल कंसल्टेंसी में विशेषज्ञता। समाज सेवा में रुचि। लोकहित की महत्वपूर्ण जानकारी जुटाना और उस जानकारी को समाचार के रूप प्रस्तुत करना। वर्तमान में डिजिटल और इलेक्ट्रॉनिक मीडिया से जुड़े। राजनीतिक सूचनाओं में रुचि और संदर्भ रखने के सतत प्रयास।

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