Editorial
कार्यकारी अध्यक्ष का पहला टास्क

भाजपा के नवनियुक्त राष्ट्रीय कार्यकारी अध्यक्ष नितिन नबीन को पार्टी में पहला टास्क मिल गया है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के विदेश दौरे से भारत लौटते ही नितिन नबीन ने प्रधानमंत्री से मुलाकात की। और इसके बाद वह एक्शन मोड में आ गए हैं।
पीएम मोदी और नितिन नबीन के बीच हुई मुलाकात भले ही बहुत लंबी नहीं थी, लेकिन इस मुलाकात के साथ ही पीएम मोदी ने नितिन नबीन को पहला महत्वपूर्ण टास्क सौंप दिया। यह टास्क वीबी जीरामजी यानी फॉर्म विकसित भारत गारंटी फॉर रोजगार एंड आजीविका मिशन ग्रामीण को लेकर है, जिस पर सरकार और विपक्ष के बीच आर-पार की जंग छिड़ी हुई है।
भारतीय जनता पार्टी के सूत्रों के अनुसार, शीर्ष नेतृत्व ने नितिन नबीन को जिम्मेदारी दी है कि वे इस बिल पर विपक्षी दलों, विशेषकर कांग्रेस द्वारा बनाए जा रहे नैरेटिव की काट तैयार करें और न केवल पार्टी के नेताओं को इसके लिए आगे लाएं, अपितु देश भर में इसके पक्ष में हवा बनाने की कोशिश करें। देखा जाए तो नितिन नबीन के कार्यकारी अध्यक्ष बनने के बाद उनकी पहली अग्निपरीक्षा वीबी जी राम जी बिल की कसौटी पर होगी। बताते हैं कि नितिन नबीन ने इसके लिए तैयारी भी शुरू कर दी है।
भारतीय जनता पार्टी बहुत जल्द इस बिल के समर्थन में पूरे देश में एक व्यापक अभियान शुरू करने जा रही है। इस अभियान का उद्देश्य बिल के सकारात्मक पहलुओं को जनता तक पहुंचाना है। पार्टी ने योजना बनाई है कि प्रदेश की राजधानियों से लेकर ग्राम सभाओं तक जनसभाओं और प्रेस कॉन्फ्रेंस के माध्यम से लोगों को इस बिल की बारीकियों से अवगत कराया जाए। कार्यकारी अध्यक्ष के रूप में नितिन नबीन के लिए यह किसी अग्निपरीक्षा से कम नहीं होगा।
दूसरी ओर, कांग्रेस, टीएमसी और अन्य विपक्षी दलों ने इस बिल के खिलाफ मोर्चा खोल दिया है। कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खडग़े ने सरकार को कड़ी चेतावनी देते हुए कहा है कि यदि बिल वापस नहीं लिया गया तो जनता सडक़ों पर उतरेगी। उन्होंने इसकी तुलना तीन कृषि कानूनों से करते हुए कहा कि सरकार को इसे भी वापस लेना ही होगा। आंदोलन की रणनीति तैयार करने के लिए कांग्रेस ने 27 दिसंबर को कांग्रेस कार्यसमिति की महत्वपूर्ण बैठक बुलाई है। इस बैठक में देशव्यापी विरोध प्रदर्शन और रैलियों का खाका खींचा जाएगा।
इसके पहले प्रधानमंत्री मोदी से मुलाकात के बाद नितिन नबीन ने सोशल मीडिया एक्स पर अपने अनुभव साझा किए। उन्होंने बताया कि प्रधानमंत्री से उन्हें भविष्य के लिए महत्वपूर्ण मार्गदर्शन प्राप्त हुआ है। नितिन नबीन ने पोस्ट करते हुए लिखा- राष्ट्रीय कार्यकारी अध्यक्ष का दायित्व संभालने के उपरांत आज विश्व के सबसे लोकप्रिय नेता, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से भेंट कर उनका आशीर्वाद एवं मार्गदर्शन प्राप्त किया। इस अवसर पर आदरणीय प्रधानमंत्री जी को बिहार की समृद्ध सांस्कृतिक विरासत के प्रतीक स्वरूप सिक्की कला से निर्मित पेंटिंग तथा भागलपुरी सिल्क पर मधुबनी आर्ट से सुसज्जित शाल भेंट की। आदरणीय प्रधानमंत्री जी द्वारा अपने अनुभवों को साझा किया जाना मेरे लिए अत्यंत सौभाग्य और सीखने का विषय रहा। उनसे मार्गदर्शन मेरे लिए सदैव प्रेरणास्रोत रहेंगे। इसके लिए मैं उनके प्रति अपनी कृतज्ञता प्रकट करता हूं।
फिलहाल भले ही अध्यक्ष पद की कमान जेपी नड्डा के पास है और नितिन नवीन को कार्यकारी अध्यक्ष बनाया गया है, लेकिन पार्टी ने यह नया प्रयोग ही किया है। और, पूरा काम नितिन को ही देखने को कहा गया है। नड्डा केवल मार्गदर्शन करेंगे। नितिन के लिए केवल नया बिल ही टास्क नहीं है, अभी बंगाल चुनाव को लेकर भाजपा बहुत तनाव में है। नितिन को जिस जातीय समीकरण के तहत कमान दी गई है, वो बिहार और बंगाल में कारगर साबित हो सकते हैं, ऐसा पार्टी का मानना है।
देखना होगा कि नितिन इस पहले टास्क में कितने खरे उतरते हैं और पार्टी के पक्ष में माहौल बनाने में कितने सफल होते हैं? पहले तो उन्हें पार्टी में ही अपनी स्वीकार्यता बनानी होगी। उनके कार्यकारी अध्यक्ष बनने के बाद पार्टी के नेताओं, मंत्रियों, सांसदों ने उनसे मुलाकात करके बधाई देने का सिलसिला जारी है, लोग मुलाकात कर परिचय दे रहे हैं। यही नहीं, पुरानी मुलाकातों का हवाला देकर संबंध बनाने का प्रयास भी कर रहे हंैं, ताकि आगे की लाइन खुल जाए।


